काठमाण्डू, ४ अखारः काठमाण्डू उपत्यका आ भारतसँ सिमाना जोडल तराई क्षेत्र बर्खा बाहेक बाकी समय अत्यधिक प्रदूषित रहबाक जनाकारी दैत नेपालक विकास साझेदारसभ स्वच्छ हावामे सास लेबाक वातावरण सुनिश्चित करबाक आवश्यकतापर जोड़ देने छैथ।
सरकार, विश्व बैंक, कोरिया आ स्वीस सरकारक सहयोगसँ विश्व बैंकक काठमाण्डूमे अवस्थित देशीय कार्यालयद्वारा मंगलदिन सार्वजनिक ‘नेपालमे स्वच्छ वायुः लाभ, प्रदूषण स्रोत आ समाधान’ नामक प्रतिवेदनमे ई बात कहल गेल अइछ। प्रतिवेदनमे कहल गेल अइछ जे स्वच्छ हावामे सास लेब मानवक नैसर्गिक अधिकार छी आ एकर सुनिश्चितता होएबाक चाही।
वन तथा वातावरण मन्त्री ऐनबहादुर शाही ठकुरी आ वातावरण संरक्षणमे सक्रिय संघ संस्थासभक प्रतिनिधिद्वारा संयुक्त रूपसँ प्रतिवेदन सार्वजनिक कएल गेल, जतए बताएल गेल जे नेपालमे मृत्यु आ अपाङ्ग बढ़ेबाक मुख्य कारण वायु प्रदूषण बनल अइछ।
विश्व बैंकक देशीय कार्यालय अनुसार काठमाण्डू उपत्यका आ भारतसँ सटल तराई क्षेत्र वायु प्रदूषणक दृष्टिसँ जोखिमपूर्ण क्षेत्र छी। प्रतिवेदन अनुसार वायु प्रदूषणक कारण नेपाली नागरिकके औसत आयु तीन वर्ष चाइर महिनाक कमी आ प्रतिवर्ष २६ हजारक हाराहारीमे मृत्यु होबाक खतरा देखाएल गेल अइछ। ई प्रदूषण मानव स्वास्थ्य सङ-सङ श्रम उत्पादकता, पर्यटन आ नागरिक उड्डयन क्षेत्रपर सेहो प्रभाव क रहल अइछ।
मन्त्री ठकुरी कहलैन, “स्वच्छ हावामे सास लेब हरेक नागरिकक अधिकार छी आ सरकार एकर सुनिश्चितता लेल प्रतिबद्ध अइछ।” ओ कहलैन जे वायु प्रदूषण घटेबाक लेल विद्युतीय सवारी साधनक उपयोग बढ़ेनाइ आ कलकारखानामे नविकरणीय ऊर्जाक प्रयोग जरुरी अइछ। लघु-मझौला उद्योगसभ आ घरगृहस्थीक लेल सरकार विद्युतीय चुल्ही आ अन्य उपकरणक प्रयोग लेल नीतिगत व्यवस्था कएने अइछ।
नेपाल आ श्रीलङ्काक लेल विश्व बैंकके निर्देशक डेभिड सिस्लेन कहलैन, “नेपालीक स्वास्थ्य आ समृद्धिक लेल स्वच्छ हावा आवश्यक अइछ, आ एकर सुनिश्चितता लेल नेपाल सरकारद्वारा कएल जा रहल प्रयासमे विश्व बैंक पूर्ण सहयोग करत।”
प्रतिवेदनमे डिजेल-पेट्रोलसँ चलैबला सवारी साधन, इँटाभट्टा, प्लास्टिकसहित फोहर जरेबाक प्रवृत्ति, बाली कटनीक बाद खेतमे आइग लगेनाइ, सड़कक धूल आ डढेलोक वायु प्रदूषणक प्रमुख कारण रूपेँ चिन्हित कएल गेल अइछ।रासस
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